कहानी एक आम आदमी की जीवन की बदलती दस्तान की है जिसमें संघर्ष, सफलता और आत्मसमर्पण की है।
आरंभ।
राजू एक सामान्य नौकर था। जो एक छोटे से शहर में अपने परिवार के साथ रहता था। उसके जीवन में कुछ खास नहीं था।
लेकिन उसका सपना था की वह कुछ बड़ा करेगा।
1 दिन एक पुराने मित्र की सलाह पर वह नौकरी के साथ व्यवसाय शुरुआत करने का निर्णय लेता है। वह अपनी मेहनत और समर्पण के
साथ व्यापार को बढ़ाता है, लेकिन इस दौरान उसे कई सारी मुसीबतों से गुजरना पड़ता है।
संघर्ष
राजू का व्यवसाय आरंभ में बहुत ही कम चल रहा था। उसके पास सामग्री की कमी थी। उसके ग्राहकों की संख्या कम थी और वह पूरी तरह से अव्यवस्था और हार चुका था, लेकिन उसने हारने का नाम नहीं लिया।
राजू ने मेहनत और उत्साह के साथ काम किया और धीरे धीरे उसका व्यवसाय मजबूत होने लगा। वह नई तकनीकों का उपयोग करके अपने उत् पादक की गुणवत्ता को और बेहतर बनाने में सफल रहा।
सफलता।
सालों के संघर्ष के बाद राजू का व्यवसाय अब सफल था । उसकी कठिनाई ने उसे मजबूत और समर्पित व्यवसायमान बना दिया था ।
राजू का व्यवसाय अब नौकरियों की स्रोत के रूप में जाना जाने लगा और उसकी आर्थिक स्थिति में सुधार हुआ। वह आप अपने परिवार के साथ अधिक सुखमय जीवन जी रहा था।
आत्मसमर्पण ।
राजू की सफलता की कहानी एक महत्वपूर्ण। सबक सिखाती है आत्मसमर्पण की महत्वपूर्णता वह कभी हार नहीं माना और अपनी और अपने सपनों की प्राप्ति के लिए हमेशा मेहनत करता रह यह कहानी दिखाती है कि किसी मुश्किल को पार करने के लिए आत्मसमर्पण धैर्य महत्वपूर्ण है।
जब हम अपने सपनों की प्राप्ति के लिए सजग रहते हैं तो कुछ भी असंभव नहीं है।
संरचना।
हमने इस कहानी को संरचित करने के लिए उनके जीवन को चार भागों में बांटा है।
आरंभ – इस भाग में प्रमुख पात्रो को पेश किया है। और उसके सपनों को बताया है।
संघर्ष – इस भाग में हमने उसकी व्यवसायी की शुरुआत उसकी मुश्किलों को बताया।
सफलता – इस भाग में हमने सफलता की चर्चा की है।
आत्मसमर्पण – इस भाग में हमने कहानी का मूल संदेश बताया है ।
समापन।
यह कहानी दिखाती है कि कठिनाइयों के बावजूद। आत्म समर्पण और मेहनत से हर कोई अपने सपनों को पूरा कर सकता है ।
कि जीवन में सफल होने के लिए हमें कभी हार और अपने सपने के लिए पूरी तरह से समर्पित रहना चाहिए।